Friday, 5 June 2020

LT GRADE BHARTI 2018: लटक सकती है एलटी ग्रेड शिक्षकों की नियुक्ति


बेसिक शिक्षा परिषद की 69 हजार शिक्षक भर्ती के बाद अब उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग की एलटी ग्रेड शिक्षक भर्ती 2018 में चयनित अभ्यर्थियों की नियुक्ति भी लटकती हुई नजर आ रही है। आयोग ने 15 में से 13 विषयों के लिए सहायक अध्यापक के लिए चयनित अभ्यर्थियों के अभिलेखों का सत्यापन पूरा करने के बाद नियुक्ति की संस्तुति के साथ इनकी पत्रावली शिक्षा निदेशालय को भेजी है।

चयनित अभ्यर्थी इस भरोसे में थे कि लॉकडाउन समाप्त होने के बाद निदेशालय उनकी नियुक्ति की प्रक्रिया शुरू करेगा। लॉकडाउन-5 में मिली रियायत के बाद अभ्यर्थी एलटी समर्थक प्रतियोगी मोर्चा के संयोजक विक्की खान के साथ नियुक्ति प्रक्रिया शुरू कराने की मांग को लेकर निदेशालय गए। निदेशालय के अफसरों ने बताया कि लोक सेवा आयोग ने जो चयन संस्तुति भेजी है, उसमें कहा गया है कि पहले अभ्यर्थियों के अभिलेखों का संबंधित शैक्षिक संस्थाओं से सत्यापन करवाया जाए फिर उन्हें नियुक्ति पत्र जारी किए जाएं। अफसरों का कहना है कि इस वजह से वे नियुक्ति की प्रक्रिया अभी नहीं शुरू कर पा रहे हैं।
विक्की खान का कहना है कि ऐसा लिखना आयोग के अधिकार क्षेत्र में नहीं था क्योंकि उसका काम सिर्फ चयन कर चयन की संस्तुति भेजना है। पहले सत्यापन कराने की व्यवस्था प्रचलित व्यवस्था के वितरित है। चयन होने के बाद नियुक्ति पत्र दिया जाता, इसी के साथ सत्यापन भी करवाया जाता है। अगर सत्यापन में अभिलेख गलत पाए जाते हैं तो नियुक्ति पत्र निरस्त कर संबंधित के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई जाती है। माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड और बेसिक शिक्षा परिषद की शिक्षक भर्ती में लंबे समय से ऐसी ही व्यवस्था लागू है। गलत अभिलेख लगाने वाले कई चयनितों की नियुक्ति पत्र निरस्त कर उनके खिलाफ एफआईआर भी दर्ज कराई गई है।
बता दें कि राजकीय इंटर कॉलेजों में रिक्त एलटी ग्रेड शिक्षकों के 15 विषयों के दस हजार से अधिक पदों के लिए आयोग ने मार्च 2018 में चयन प्रक्रिया शुरू की थी। 29 जुलाई 2018 को लिखित परीक्षा हुई थी। पेपर लीक को लेकर हुए विवाद के कारण अभी दो विषयों हिन्दी और सामाजिक विज्ञान का परिणाम घोषित नहीं हो सका है। 

शासन से मांगी गई राय

चयन संस्तुति में आयोग की ओर से पहले सत्यापन कराए जाने की बात लिखने से निदेशालय के अफसर मुश्किल में पड़ गए हैं। उन्हें समझ में नहीं आ रहा है की आखिर वे क्या करें। लोक सेवा आयोग ने यह भर्ती पहली बार कराई है। इसलिए अफसरों ने शासन को पत्र लिखकर इस मामले में सुझाव मांगा गया है। 

कहां से आएगा लाखों का बजट

अभिलेखों का सत्यापन कराने में बजट को लेकर भी अड़चन आ रही है। शैक्षिक संस्थाओं ने अभिलेखों के सत्यापन के लिए फीस निर्धारित की हुई है, जो चयनित अभ्यर्थी देता है। पहले सत्यापन कराने पर इसमें होने वाला खर्च निदेशालय को वहन कहना होगा और निदेशालय के पास इस मद में बजट ही नहीं है। एक अभ्यर्थी के अभिलेखों का सत्यापन कराने में लगभग हजार रुपये तक खर्च होते हैं, इस प्रकार 13 विषयों के लिए चयनित 4244 अभ्यर्थियों के सत्यापन में लाखों रुपये की आवश्यकता होगी। 

उग्र विरोध का लिया फैसला

एलटी समर्थक प्रतियोगी मोर्चा के संयोजक विक्की खान ने अपर शिक्षा निदेशक (राजकीय) को ज्ञापन देकर नियुक्ति पत्र जारी कर सत्यापन कराने की मांग की है। उनका आरोप है कि आयोग ने मामले को लटकाने के उद्देश्य से सत्यापन कराने के बाद नियुक्ति पत्र जारी करने की बात कही है, जो  कत्तई न्यायोचित नहीं है। इससे नियुक्ति पत्र मिलने में काफी बिलंब होगा। चेतावनी दी गई है कि अगर ऐसा नहीं हुआ तो चयनित अभ्यर्थी इसके खिलाफ उग्र आंदोलन करेंगे।


LT GRADE BHARTI 2018: लटक सकती है एलटी ग्रेड शिक्षकों की नियुक्ति Rating: 4.5 Diposkan Oleh: bankpratiyogi

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