
बेसिक शिक्षा विभाग में 69 हजार पदों की शिक्षक भर्ती में कटऑफ लागू होने से शिक्षामित्रों को बड़ झटका लगा है. शिक्षामित्रों ने सरकार के फैसले के खिलाफ कोर्ट जाने का फैसला तक कर लिया है. शिक्षमित्रों की मानें तो विभाग के इस फैसले से उनको मिला दूसरा मौका भी बेकार चल जाएगा.
सहायक अध्यापकों के 69 हजार पदों पर भर्ती के लिए 6 जनवरी को हुई परीक्षा के बाद बेसिक शिक्षा विभाग ने इसमें कटऑफ लागू कर दी है. अब सामान्य वर्ग में 65 और आरिक्षत वर्ग में 60 फीसदी अंक पाने वाले अभ्यर्थी ही इस परीक्षा में क्वालिफाई मानें जाएंगे जो शिक्षक भर्ती के लिए आवेदन कर सकते हैं. यह कटऑफ 2018 की शिक्षक भर्ती के मुकाबले 20 फीसदी अधिक है. 2018 की शिक्षक भर्ती परीक्षा में 40 और 45 फीसदी कटऑफ अंक रखे गए थे
शिक्षामित्रों का कहना है कि जुलाई 2017 में सुप्रीम कोर्ट ने जब उनका समायोजन रद्द किया तो यह भी कहा था कि आगामी दो भर्तियों में उनको वेटेज अंक और उम्र में छूट दी जाएगी. इसमें से 68500 पदों की एक भर्ती 2018 में हो चुकी है और 69 हजार पदों की दूसरी परीक्षा हाल ही में 6 जनवरी को हुई है. परीक्षा से पहले किसी तरह का कटऑफ तय नहीं किया गया था. शिक्षामित्रों के अनुसार इस साल करीब 22 हजार शिक्षामित्रों ने टेट क्वालिफाई किया. इसके अलावा पहले से करीब 27 हजार टेट क्वालिफाई शिक्षामित्र भी हैं. इन सभी ने शिक्षक भर्ती परीक्षा दी है. शिक्षामित्रों का कहना है कि उनको मिलने वाला भारांक परीक्षा क्वालिफाई करने पर मिलेगा. लेकिन जब वह इतनी हाई कटऑफ के चलते परीक्षा ही क्वालिफाई नहीं कर पाएंगे तो भारांक कहां से मिलेगा.
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